रानी चटर्जी ने क्यों कहा की मेरा टारगेट अभी तक पूरा नहीं हुआ है
‘अंतरराष्ट्रीय महिला दिवस’ पर भोजपुरी जगत की अभिनेत्रियों रानी चटर्जी से एक्सक्लूसिव बातचीत की। भोजपुरी फिल्मों की क्वीन का खिताब पा चुकीं अभिनेत्री रानी चटर्जी आज महिलाओं के सम्मान से लेकर कई मुद्दों पर बेबाकी से अपनी राय रखी।
सवाल- आज अंतरराष्ट्रीय महिला दिवस है तो आपको क्या लगता है कि महिलाओं को समाज में इज्जत मिल रही है?
रानी चटर्जी- ऐसा क्यों हैं कि आज वीमेंस डे है तो आज ही इज्जत और सम्मान दें, ये ठीक नहीं है। हर दिन महिलाओं की इज्जत करनी चाहिए, सम्मान देना चाहिए चाहें वह कहीं पर भी हों। औरत की जिंदगी में हर ओर जद्दोजहद लगी रहती है। मुझे नहीं लगता कि अब तक औरतों को अपनी बात रखने की पूरी आजादी मिली है।
सवाल- भोजपुरी इंडस्ट्री में आप बड़ा नाम हैं, 300 से ज्यादा फिल्में आप कर चुकी हैं, आपको भोजपुरी क्वीन कहा जाता है। भोजपुरी फिल्म इंडस्ट्री में औरतों की कितनी इज्जत है?
रानी चटर्जी- इसमें कोई शक नहीं है। भोजपुरी फिल्म इंडस्ट्री में सभी इज्जत करते हैं, लेकिन ये देखने वाली बात है कि कौन सी लड़की किस लेवल पर है। इज्जत उस हिसाब से दी जाती है और ये हर जगह होता है सिर्फ हमारी इंडस्ट्री में नहीं होता।
सवाल- आप जब अपनी तस्वीरें सोशल मीडिया अकाउंट्स पर शेयर करती हैं तो अच्छे कमेंट्स आते हैं या भद्दे कमेंट्स आते हैं? इस बारे में आपकी क्या राय है?
रानी चटर्जी- आजकल सोशल मीडिया तो ऐसा हो गया है कि जो मन में आए वो लिख दिए। सॉरी मैं अपनी भाषा पर माफी मांगती हूं, लेकिन ये सच है। कुछ भी लिख देते हैं। कोई भी फोटो डालो, कुछ भी लिख देते हैं। इस पर रोक लगानी चाहिए। ये गलत है ऐसा नहीं होना चाहिए। बहुत से फैंस आपके लिए लड़ते भी हैं। ट्रोलर्स कपड़ों और फिगर को लेकर लिखते हैं। मेरे लिए मोटी लिखते हैं। ऐसा लगता है कि ये लोग उसी औरत की कोख से पैदा हुए हैं जो सिक्स पैक एब्स लेकर पैदा हुई थी। ऐसा लगता है कि इनकी फैमिली में सभी महिलाएं सिर्फ एब्स वाली ही हैं। ये बात सही है कि मैं ओवर वेट थी। ट्रोलर्स को अपने दिमाग से गंदगी निकालनी चाहिए। ‘इंटरनेशनल वीमेंस डे’ पर हम औरतों का बड़ा सम्मान करते हैं, ये नहीं करना चाहिए। हर दिन औरतों का है, औरतों के बिना जिंदगी अधूरी है। हर घर अधूरा है। सम्मान देना चाहिए।
सवाल- किस तरह से आपका एक्टिंग करियर शुरू हुआ, कैसे पहली फिल्म मिली और क्या कुछ झेला है आपने?
रानी चटर्जी- मैं बहुत लकी रही हूं इस मामले में, मैंने कुछ झेला नहीं। मुझे बहुत आसानी से फिल्म मिल गई थी। 2003 में मैं 10वीं में थी। 14 साल की उम्र में मुझे फिल्म मिल गई थी। फिल्मों की शूटिंग देखने का शौक था। एक-दो फोटो खिंचवाए थे एक्टर्स के साथ तो वो फोटो किसी ने देख लिए तो डायरेक्टर ने मुझे बतौर हिरोइन साइन कर लिया। मैं बचपन से बहुत डेयरिंग टाइप की रही हूं। मुझे लगता है कि आज मैं ज्यादा हूं। मेरी पहली फिल्म ‘ससुरा बड़ा पईसा वाला’ थी। मनोज तिवारी फिल्म के एक्टर थे। वो बतौर हीरो उनकी भी पहली फिल्म थी। 3 नवंबर को मेरा जन्मदिन था और उसी दिन शूटिंग का पहला दिन भी था। हम लोग गोरखनाथ मंदिर में शूट करने पहुंचे। बहुत कम लोग जानते होंगे कि मैं मुस्लिम फैमिली से ताल्लुक रखती हूं और मेरा असली नाम मिर्जा शेख है। एक गाना हम शूट करने वाले थे। भोलेनाथ जी की मूर्ति के सामने सिर पटकने का शॉट था। फिल्म के क्लाइमैक्स में वो शॉट है। डायरेक्टर अजय सिन्हा जी को पता चला कि मैं मुस्लिम हूं तो वो बोले कि बेटा आज किसी को अपना नाम मत बताओ। फिल्म में मेरे कैरेक्टर का नाम रानी था तो वो बोले कि रानी बोल दो। फिर किसी पत्रकार ने मेरे नाम के पीछे चटर्जी लगा दिया तो ऐसे मेरा नाम रानी चटर्जी पड़ गया।
सवाल- रानी चटर्जी नाम मिलने के बाद फिर आपका फिल्मी सफर शुरू हुआ और फिर आप फिल्में करने लगीं?
रानी चटर्जी- सच बोलूं तो उन दिनों भोजपुरी फिल्में बनती नहीं थीं और मुझे भोजपुरी के बारे में ज्यादा जानकारी नहीं थी। पहली फिल्म को लेकर ज्यादा कुछ दिमाग में था नहीं, लेकिन जब फिल्म रिलीज हुई और हिट हुई तो एक साल तक मैं प्रमोशन में ही जुटी रही क्योंकि उस फिल्म ने गोल्डन जुबली क्रॉस किया था। उसके बाद मैंने फिल्में साइन करना शुरू किया। हमारा जो देश है वो पुरुष प्रधान देश है। लड़कियों को कम और लड़कों को ज्यादा महत्व दी जाती है। आज सेम प्राइज मनी क्या हिरोइन को मिलती है, नहीं मिलती। सारा क्रेडिट हीरो ले जाता है। कहां बराबर हो गए हैं हम। भोजपुरी फिल्मों में मेरा नाम (नंबरिंग में) पहले आता है। जो हमारे बाकी के एक्टर हैं उनके साथ ऐसा नहीं होता। जहां तक बराबर की बात है तो जब ‘ससुरा’ हिट हुई तो सारा क्रेडिट मनोज जी को दिया गया। उनकी प्राइज मनी सीधा आसमान छू रही थी। मैं नई थी तो मेरा जो स्ट्रगल है वो वहां से शुरू हुआ। खुद को साबित करने में मुझे तीन साल लगे। मुझे खुशी होती है कि मुझे जो कुछ मिला अपने टैलेंट और अपने दम पर मिला।
सवाल- भोजपुरी फिल्मों में ऐसा क्यों हो रहा है कि पुरुष प्रधान की बहुत ज्यादा ताकत है। यहां पर देखा गया है कि दिनेश लाल यादव (निरहुआ) एक यादव कौम लेकर चल रहे हैं, पवन सिंह ठाकुर कौम लेकर चल रहे हैं, एक तरफ प्रदीप चिंटू पांडे तो पांडे ग्रुप चल रहा है। इसी तरह एक्ट्रेस भी ग्रुप से जुड़ी हुई हैं। तो ऐसा क्यों है?
रानी चटर्जी- आपने बहुत पेचीदा सवाल पूछा है। आपके सवाल का जवाब देते ही उनके फैंस मेरे बारे में लिखना शुरू कर देंगे। जहां तक ग्रुप में होने की बात है तो हमारी भोजपुरी इंडस्ट्री ज्यादा बड़ी नहीं है। ज्यादातर अभिनेत्रियां बाहर से आई हैं, लेकिन हीरो सारे यहीं (यूपी, बिहार) से हैं। इन सब लोगों ने अपना ग्रुप बनाया है। मैंने एक दिन फेसबुक पर लिखा भी था कि इन लोगों को ऐलान कर देना चाहिए कि हम लोग भोजपुरी इंडस्ट्री में नहीं हैं बल्कि हम लोग पारिवारिक फिल्में करते हैं। मैं इंडस्ट्री में हूं क्योंकि मैं सबके साथ काम करना पसंद करती हूं और आगे भी करूंगी।
सवाल- फैंस जो हैं आम्रपाली-निरहुआ की ही जोड़ी देखना चाह रहे हैं तो जोड़ी बनना भी जाहिर है?
रानी चटर्जी- हर जोड़ी का एक क्रेज होता है, इसमें कोई शक नहीं है कि वो हिट जोड़ी है। उससे पहले भी दिनेश जी की पाखी के साथ हिट जोड़ी रही है। पवन सिंह के साथ मेरी फिल्मों को लेकर नहीं बल्कि हमारी निजी जिंदगी को लेकर चर्चाएं होती थीं, लेकिन वो बहुत पुरानी बात हो गई है। हमारी फिल्में ब्लॉकबस्टर रहती थीं। हमारी अगर लड़ाई नहीं हुई होती तो हम आगे भी बहुत सारी फिल्में करते और हिट फिल्में देते। तो जहां जोड़ी की बात है ना, जोड़ी शाहरुख खान और काजोल की भी है। उन्होंने तो लगातार फिल्में नहीं कीं। उनकी जोड़ी आज भी फ्रेश है। हमारी इंडस्ट्री में ये जो जोड़ी वाला बना है ना ये तोड़ना बहुत जरूरी है और ये हीरो लोग ही तोड़ सकते हैं। अभी बदलाव आ रहे हैं, दिनेश जी और खेसारी जी सभी के साथ फिल्में कर रहे हैं। ये बहुत अच्छी बात है।
सवाल- 9 साल बाद आपने पवन सिंह के साथ ‘शपथ’ फिल्म साइन की है तो क्या आपकी रिश्ता उनसे ठीक हो गया है?
रानी चटर्जी- हां कह सकते हैं। ‘शपथ’ की शूटिंग चल रही है। हमारा रिश्ता कितना अच्छा हुआ है ये तो ऑन सेट जाकर ही पता चलेगा।
सवाल- आपने अभी तक शादी नहीं की?
रानी चटर्जी (हंसते हुए)- तीन दिन से एक फैन जहां भी मेरी फोटो देखता है, मुझे टैग करता है और पूछता है कि जीजाजी कब आएंगे। मुझे नहीं पता कब आएंगे, लेकिन ये साल खत्म होते-होते न्यूज आ जाएगी मेरी।
सवाल- फिटनेस की बात करें तो अब आप पहले से ज्यादा फिट हो गई हैं, क्या कहेंगी?
रानी चटर्जी– मेरा टारगेट अभी तक पूरा नहीं हुआ है। टारगेट को पूरा करने में अभी एक महीना और लगेगा। आम्रपाली ने भी काफी अच्छा वजन घटाया है। मैं अपने वजन घटाने के लिए उन फैंस को धन्यवाद कहूंगी जो मेरी हर पोस्ट पर आकर लिखते थे मोटी। उन लोगों ने ही मुझे ये ताकत दी है।
सवाल- भोजपुरी फिल्मों में आपको किसकी फिटनेस सबसे ज्यादा अच्छी लगती है?
रानी चटर्जी- मोनालिसा और पाखी की भी फिटनेस बहुत अच्छी है। लेटेस्ट में काजल राघवानी भी।
सवाल- किस एक्ट्रेस को आप फिट होने के लिए मैसेज देंगी?
रानी चटर्जी- मुझे लगता है कि सभी फिट हैं मेरे अलावा।
सवाल- सबसे हैंडसम एक्टर कौन है?
रानी चटर्जी- मुझे तो सभी अच्छे लगते हैं। मुझे प्रदीप पांडेय चिंटू ,अरविंद अकेला कल्लू, रितेश पांडे की पर्सनालिटी बहुत अच्छी लगती है।
सवाल- कुछ एक्टर्स के नाम आपके सामने बोले जाएंगे, आपको उनके बारे में एक शब्द में बोलना है? पहला नाम है, दिनेश लाल यादव?
रानी चटर्जी- सज्जन।
सवाल- दूसरा नाम- रवि किशन?
रानी चटर्जी- स्मार्ट।
सवाल- तीसरा नाम- खेसारी?
रानी चटर्जी- बड़बोला।
सवाल- चौथा नाम- पवन सिंह?
रानी चटर्जी- स्वीट।
सवाल- पांचवा नाम- प्रदीप पांडे उर्फ चिंटू?
रानी चटर्जी- हैंडसम।
रानी चटर्जी ने बातचीत के अंत में महिलाओं पर बोलते हुए कहा, ‘महिलाओं को इज्जत नहीं देते हैं लोग। हम बस चिल्लाते रह जाते हैं, लेकिन ये होता नहीं है। हमें लगता है कि हम बहुत आगे जा चुके हैं, लेकिन हम सोशल मीडिया पर ही आगे गए हैं, हकीकत में वहीं पर हैं। बॉलीवुड एक्ट्रेस को भी इस तरह के कमेंट्स का सामना करना पड़ता है। हां ये हो सकता है कि वो लोग पढ़ती नहीं होंगी। कई बार मैंने देखा है कि डेजी शाह, जरीन खान ने ट्रोलर्स को जवाब दिया है। महिलाओं के लिए यही करना चाहूंगी कि आप अपना ख्याल पहले रखें क्योंकि हम दूसरों के लिए जीते-जीते खुद जीना भूल जाते हैं।’